वाममोर्चे की सदस्य रिवोल्यूशनरी सोशलिस्ट पार्टी (आरएसपी) ने संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (यूपीए ) और वाममोर्चे की समन्वय समिति से अलग होने का फ़ैसला किया है।
महंगाई और परमाणु समझौते पर सरकार के रवैए का हवाला देते हुए आरएसपी ने ये निर्णय किया है।
आरएसपी ने उम्मीद जताई कि उनके समन्वय समिति से बाहर आने से अन्य वामपंथी पार्टियां भी यूपीए सरकार को अपना समर्थन जारी रखने के मुद्दे पर दोबारा विचार करने के लिए मजबूर होंगी।
पार्टी के महासचिव टी चंदचूड़न ने कहा, '' हम अपने आपको उस सरकार की उन सभी गतिविधियों से अलग कर रहे हैं जो जनता से पूरी तरह से कट चुकी है।''
हम अपने आपको उस सरकार की उन सभी गतिविधियों से अलग कर रहे हैं जो जनता से पूरी तरह से कट चुकी है
टी चंद्रचूडन, महासचिव, आरएसपी
उनका कहना था कि सरकार को अब समर्थन जारी रखना व्यावहारिक नहीं रह गया है।
उनका मानना था कि अब समय आ गया है कि वामपंथी पार्टियों को केंद्र सरकार से समर्थन वापस ले लेना चाहिए।
ग़ौरतलब है कि आरएसपी के तीन सांसद हैं और इसके नेता अवनी राय समन्वय समिति में पार्टी का प्रतिनिधित्व करते हैं।
हालांकि पार्टी ने स्पष्ट किया है कि वह परमाणु समझौते पर बनी यूपीए-वामपंथी समन्वय समिति में बनी रहेगी।
पार्टी ने तर्क दिया है कि परमाणु समझौते को आगे बढ़ने से रोकने के लिए यह ज़रूरी है।
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