Friday, November 30, 2007

इमरजेंसी हटाना स्वागतयोग्य लेकिन...

अमरीका और ब्रिटेन ने कहा है कि पाकिस्तान में 16 दिसंबर को इमरजेंसी हटाने की घोषणा स्वागतयोग्य है लेकिन अभी और बहुत कुछ करने की ज़रूरत है।

ग़ौरतलब है कि दोबारा राष्ट्रपति पद की शपथ लेने के बाद परवेज़ मुशर्रफ़ ने गुरुवार को कहा था कि उन्होंने 16 दिसंबर को इमरजेंसी हटाने की योजना बनाई है।

लेकिन अमरीका और ब्रिटेन का कहना है कि आठ जनवरी को प्रस्तावित संसदीय चुनाव स्वतंत्र और निष्पक्ष तरीके से संपन्न कराने के लिए और प्रयास करने की ज़रूरत है।

अमरीका ने कहा है कि प्रेस की आज़ादी और लोगों को एकजुट होने की इजाज़त देना ज़रूरी है।

वहीं ब्रितानी विदेश मंत्री डेविड मिलिबैंड ने हिरासत में लिए गए जजों और वकीलों को रिहा करने की माँग की है।

उधर निर्वासन के बाद पाकिस्तान लौटे दोनो पूर्व प्रधानमंत्रियों की चुनावों में हिस्सा लेने पर अलग-अलग राय है।

पाकिस्तान मुस्लीम लीग (नवाज़) के प्रमुख नवाज़ शरीफ़ ने कहा है कि वो चुनावों का बहिष्कार करेंगे लेकिन पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) की अध्यक्ष बेनज़ीर भुट्टो का कहना है कि वो चुनाव में हिस्सा लेंगी लेकिन विरोध भी जारी रहेगा।

अमरीका का रूख़

अमरीकी राष्ट्रपति कार्यालय व्हाइट हाउस और विदेश मंत्रालय ने वर्दी उतारकर राष्ट्रपति पद की शपथ लेने के लिए परवेज़ मुशर्रफ़ की सराहना की।

व्हाइट हाउस प्रवक्ता डाना पेरिनो ने कहा कि राष्ट्रपति जॉर्ज बुश मानते हैं कि पाकिस्तान में लोकतंत्र की बहाली के लिहाज़ से यह एक 'आवश्यक' क़दम था।

उन्होंने पाकिस्तान के सभी राजनीतिक पक्षों और लोगों से चुनाव में हिस्सा लेने की अपील की।

पेरिनो ने तीन नवंबर को लागू इमरजेंसी के बाद मूल अधिकारों के निलंबन का ज़िक्र करते हुए मुशर्रफ़ से ऐसे क़दम उठाने की अपील की जिससे उनके विरोधियों को अपने विचार व्यक्त करने और एक जगह इकट्ठा होने की अनुमति मिले और प्रेस की आज़ादी बहाल हो।

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