Thursday, January 3, 2008

'चुनाव टालने के अलावा कोई रास्ता नहीं था'

पाकिस्तानी राष्ट्रपति परवेज़ मुशर्रफ़ ने कहा है कि देश में नाज़ुक राजनीतिक स्थिति को देखते हुए चुनाव स्थगित करने के अलावा कोई और चारा नहीं था.

पाकिस्तान चुनाव आयोग ने आठ जनवरी को होने वाले आम चुनावों को स्थगित कर दिया है और अब ये चुनाव 18 फ़रवरी को होंगे.

आयोग के मुताबिक ये फ़ैसला पूर्व प्रधानमंत्री और पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) की नेता बेनज़ीर भुट्टो की हत्या के बाद के हालात को देखते हुए लिया गया है.

राष्ट्रपति मुशर्रफ़ ने देश के सभी राजनीतिक दलों से विरोध के रास्ते पर चलने के बजाए सहयोग और शांति कायम करने पर ध्यान केंद्रित करने की अपील की है.

दूसरी ओर विपक्षी दलों ने चुनाव स्थगित किए जाने का विरोध किया है.

मुशर्रफ़ की दलील

परवेज़ मुशर्रफ़ का कहना था, "मैं सभी राजनीतिक दलों से कहूंगा कि वो समझने की कोशिश करें कि अभी कितनी संवेदनशील स्थिति है. पाकिस्तान के बारे में सोचिए न कि अपने बारे में. हम पहले से ही संकट में हैं. कृपया स्थिति और ख़राब न बनाएं."


मैं सभी राजनीतिक दलों से कहूंगा कि वो समझने की कोशिश करें कि अभी कितनी संवेदनशील स्थिति है. पाकिस्तान के बारे में सोचिए न कि अपने बारे में

परवेज़ मुशर्रफ़

लेकिन विपक्षी पार्टियाँ मुशर्रफ़ के तर्कों से सहमत नहीं हैं और उनका कहना है कि चुनावों को छह हफ़्ते के लिए आगे बढ़ाने का कोई तुक नहीं था.

चुनाव टालने की घोषणा बुधवार को मुख्य चुनाव आयुक्त काज़ी मोहम्मद फ़ारुख ने की.

उनका कहना था कि बेनज़ीर भुट्टो की हत्या के बाद हिंसा को देखते हुए आठ जनवरी को चुनाव कराना संभव नहीं है.

उन्होंने कहा, "अब चुनाव के लिए मतदान आठ जनवरी की बजाय 18 फ़रवरी को होगा. '

पीपीपी और नवाज़ शरीफ़ की पार्टी पाकिस्तान मुस्लिम लीग (नवाज़) ने घोषणा कर दी थी कि वो चुनाव में हिस्सा लेना चाहते हैं.

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